वजह नफरतों की तलाशी जाती है,
मोहब्बत तो बिन वजह ही हो जाती है |






(ii)

कौन कहता है कि...दिल सिर्फ सीने में होता है..*

*तुमको लिखूँ तो...मेरी उँगलियाँ भी धड़कती हैं..*